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कुल की रस्म के साथ तीन दिवसीय उर्स सम्पन्न, रघु शर्मा को सुदर्शन अवार्ड से किया सम्मानित

केकड़ी: जूनियां में डॉ. रघु शर्मा को सुदर्शन अवार्ड से सम्मानित करते रज्जाकी पब्लिक चेरिटेबल ट्रस्ट के पदाधिकारी।

केकड़ी, 27 मई (आदित्य न्यूज नेटवर्क): जूनियां कस्बे में जयपुर रोड स्थित मुर्शिद नगर में चल रहे हैं सूफी अब्दुल रज्जाक साहब के सालाना उर्स में पूर्व चिकित्सा मंत्री एवं केकड़ी विधायक डॉ रघु शर्मा ने चादर और अकीदत के फूल पेश कर अमन चैन की दुआ मांगी। इस दौरान महफिल खाना में आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए डॉ रघु शर्मा ने कहा कि सूफी अब्दुल रज्जाक साहब ने सावर में मुझे पढ़ाया है। मेरी दिली इच्छा है कि यहां जायरीनों के ठहरने के लिए अच्छी सहूलियत वाली धर्मशाला बने। पहले यहां सड़क और बिजली की व्यवस्था नहीं थी। मेरे पिछले विधायक काल में मैंने यहां सड़क और बिजली की व्यवस्था की। यहां 35 लाख रुपए की लागत से सामुदायिक भवन का निर्माण करवाया। उन्होंने कहा कि सालाना उर्स में देश-विदेश से आने वाले जायरीनों का मैं तहे दिल से स्वागत करता हूं।

प्रतिभावान विद्यार्थियों को किया सम्मानित महफिल खाना में आयोजित कार्यक्रम में रज्जाकी पब्लिक चेरिटेबल ट्रस्ट जूनियां की तरफ से चिकित्सा मंत्री रहते हुए अविस्मरणीय कार्य करने पर डॉ रघु शर्मा को सुदर्शन अवार्ड से सम्मानित किया गया। कार्यक्रम के दौरान डॉ. रघु शर्मा ने जूनियां के प्रतिभावान छात्र-छात्राओं को प्रतीक चिन्ह देकर हौसला अफजाई की। इस दौरान समाजसेवी राजेंद्र भट्ट, सैयद मोहतशिम अली आगरा, डॉ. शैलेंद्र पांड्या उदयपुर, हिमांशु दुगर सरदारशहर चुरू, सज्जादा नशीन सूफी डॉ. अब्दुल लतीफ शाह, सूफी अब्दुल हमीद शाह, सूफी अब्दुल कलाम शाह, जूनिया सरपंच कृष्ण गोपाल सेन, पंचायत समिति सदस्य घनश्याम आचार्य, मुस्लिम समाज सदर अब्दुल जब्बार शेख, दुर्गालाल मेघवंशी, महबूब मंसूरी, राम अवतार मेघवंशी, दिनेश चतुर्वेदी, नवल किशोर शर्मा, ओम नारायण आचार्य, कालू महावर, मोहम्मद इकबाल सहित भारी तादाद में जायरीन और ग्रामीण मौजूद रहे।
केकड़ी: जूनियां में उर्स के दौरान मौजूद अकीदतमंद।

दरगाह परिसर को केवड़े और इत्र से धोया तीन दिवसीय उर्स का समापन कुल की रस्म के साथ हुआ कुल की रस्म के दौरान पूरे दरगाह परिसर को केवड़े और इत्र से धोया गया। महफिल खाने में फनकारों ने कव्वालियां पेश की। रंग की महफिल के बाद परंपरागत तरीके से कुल की रस्म अदा की गई। तीन दिवसीय मेले के दौरान पूरे देश विदेश से हजारों की संख्या में जायरीन उमड़े।

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