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बेटी के साथ बलात्कार की झूठी शिकायत दर्ज कराना पड़ा भारी, न्यायालय ने मां के खिलाफ लिया प्रसंज्ञान

प्रतीकात्मक फोटो

केकड़ी, 24 मई (आदित्य न्यूज नेटवर्क): अजमेर पोक्सो अदालत ने बेटी के साथ बलात्कार की झूठी रिपोर्ट लिखाने पर मां के खिलाफ प्रसंज्ञान लेते हुए जमानती वारन्ट से तलब किया है। पीड़िता की मां ने 7 जुलाई 2021 को केकड़ी थाने एक रिपोर्ट दर्ज कराई थी। जिसमे उसने बताया कि पीड़िता दोपहर दो बजे अपनी दादी के साथ बकरियां चराने गई थी। इस दौरान उसकी दादी पीछे रह गई। इस बीच आरोपियों ने उसे अकेला पाकर मुंह दबा दिया व दोनों ने बारी-बारी से बलात्कार किया। इस बीच पीड़िता की दादी वहां पहुंच गई और एक आरोपी को पकड़ लिया। पुलिस ने जांच के दौरान पीड़िता का बलात्कार संबंधी परीक्षण मेडिकल बोर्ड से कराया।

वारदात से किया इनकार पीड़िता ने पुलिस को दिए बयान में बताया कि आरोपियों ने उसके पिता के खिलाफ चोरी का मुकदमा दर्ज कराया था। इस कारण उसने पोक्सो कानून के तहत झूठी रिपोर्ट दर्ज कराई। उसके साथ कोई रेप नहीं हुआ। यही बयान पीड़िता ने अदालत में भी दिए। पीड़िता की उम्र मेडिकल परीक्षण में 16 से 18 वर्ष होना पाई गई। पुलिस ने मामले को झूठा पाए जाने पर एफआर लगा दी।

पुलिस ने दर्ज कराया इस्तगासा पुलिस ने विशिष्ट लोक अभियोजक रूपेन्द्र परिहार के जरिए धारा 22 पोक्सो कानून के तहत इस्तगासा पेश किया। अजमेर पोक्सो कोर्ट के न्यायाधीश बन्नालाल जाट ने इस्तगासे के आधार पर शिकायतकर्ता के खिलाफ प्रथम दृष्टया झूठा मुकदमा दर्ज कराना पाते हुए प्रसंज्ञान लिया तथा पीड़िता की मां को जमानती वारंट से तलब करने के आदेश दिए है। प्रकरण में अगली सुनवाई 6 जून 2022 को होगी।

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