Friday, March 14, 2025
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हर्षोल्लास के साथ मनाई गुरुनानक देव की 555वीं जयंती, सिंधी मंदिर में हुए विविध आयोजन

केकड़ी, 15 नवम्बर (आदित्य न्यूज नेटवर्क): सिंधी समाज के तत्वावधान में शुक्रवार को गुरुनानक देव जी की 555वीं जयंती हर्षोल्लास के साथ मनाई गई। इस अवसर पर सुबह सिंधी मंदिर से प्रभात फेरी निकाली गई। जो घंटाघर, अजमेरी गेट, खिड़की गेट, सदर बाजार, सिंधी कॉलोनी, गीता भवन होते हुए वापस सिंधी मंदिर में आकर धर्मसभा में परिवर्तित हो गई। सिंधी भ्रात्री मंडल के मीडिया प्रभारी रामचन्द टहलानी ने बताया कि आयोजन में सिंधी संरक्षक मंडल, सिंधी भ्रात्री मंडल, सिंधी नवयुवक मंडल, सिंधी महिला मंडल के अधिकारी एवं सदस्य गणों एवं जय महाराज का भरपूर सहयोग प्राप्त हुआ।

गुरु ग्रंथ है जिन मानिआ जयंती समारोह में प्रवचन करते हुए पुणे से आए हुए सुरेश महाराज ने कहा कि गुरु ग्रंथ है जिन मानिआ प्रकट हुए प्रकाश, जाका हिरदा शुद्ध है,ले शब्द खोज में आए। आज इंसान को कण-कण में व्याप्त परमात्मा को जानकर, देखकर भक्ति करनी है। तभी उसका मानव जीवन सफल है। दसवीं पातशाही श्री गुरु गोविंद सिंह साहब जी ने अपने प्रवचनों में कहा कि आज के बाद कोई गुरु गद्दी विराजमान नहीं होंगे। केवल और केवल श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी को ही गुरु मानकर उसमें दर्ज पवित्र वाणियों को अपने जीवन में अपना कर अपना जीवन सफल करना है।

अपनाने होंगे महापुरूषों के वचन सुरेश महाराज ने कहा कि इस बात को आज भी संपूर्ण सिख संप्रदाय पांचवी पातशाही श्री अर्जन देव जी महाराज द्वारा लिखित श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी को गुरु मानकर उनमें दर्ज वाणियों को अपने जीवन में अपना कर गुरु नानक देव जी का संदेश जन-जन तक फैला रहे हैं। आज हर मानव को संतो महापुरुषों के वचनों को अपने जीवन में अपना कर अपना जीवन सफल बनाना है। आयोजन में सिंधी समाज के अनेक महिला पुरूष मौजूद रहे।

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