केकड़ी। अजमेर रेंज के पुलिस महानिरीक्षक एस. सैंगाथिर ने कहा कि सूचना तंत्र की मजबूती से ही अपराधों पर लगाम कसने में सफलता मिलती है। जनता से मिलने वाले सहयोग से बेहतरीन प्रशासन की अवधारणा मजबूत होती है। आपसी सौहार्द एवं भाईचारे से कस्बे की प्रगति संभव है। बेहतर परिणाम प्राप्त करने के लिए आमजन को तमाशबीन बनने के बजाए आगे बढक़र पुलिस की मदद करनी चाहिए। वे शुक्रवार को केकड़ी में पुलिस उप अधीक्षक कार्यालय का वार्षिक निरीक्षण करते समय पत्रकारों से मुखातिब थे। उन्होंने कहा कि कार्ययोजना बना कर कार्य करने से आपराधिक गतिविधियों पर रोक लगाई जा सकती है। वृत क्षेत्र के थाना प्रभारियों की बैठक के दौरान उन्होंने बीट प्रणाली को सुदृढ़ बनाने, चोरी–नकबजनी जैसी घटनाओं को रोकने के लिए सूचना तंत्र मजबूत बनाने व बड़े अपराधों पर अंकुश लगाने के लिए सख्ती करने तथा पेंडिंग केसों का निस्तारण तेजी से करने के निर्देश दिए। उन्होंने क्षेत्र के हिस्ट्रीशीटरों के बारे में भी जानकारी ली व विशेष आयोजनों के दौरान इन्हें पाबन्द करने के निर्देश दिए। आईजी एस. सैंगाथिर के केकड़ी आगमन पर पुलिसकर्मियों ने पुलिस उप अधीक्षक कार्यालय के बाहर गॉर्ड ऑफ ऑनर दिया। इस मौके पर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक घनश्याम शर्मा, पुलिस उप अधीक्षक खींवसिंह राठौड़, केकड़ी थानाधिकारी सुधीर कुमार उपाध्याय, भिनाय थाना प्रभारी महावीर प्रसाद मीणा, सरवाड़ थाना प्रभारी गुमान सिंह, सावर थाना प्रभारी लक्ष्मीचन्द गुर्जर, सराणा थाना प्रभारी लक्ष्मण सिंह राजावत आदि मौजूद रहे।
जन अभियान बनेगा आवाज दो अभियान
पत्रकारों से चर्चा करते हुए आईजी एस. सैंगाथिर ने कहा कि आवाज दो अभियान को जन अभियान बनाने के लिए व्यापक प्रचार—प्रसार किया जा रहा है। अभियान के माध्यम से महिलाओं व युवतियों के प्रति लोगों की सोच बदलने का सकारात्मक प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि पुलिस महिला अपराधों के संबंध में संवेदनशीलता के साथ कार्य करती है। महिला सशक्तिकरण एवं लैगिंक दुराचार की रोकथाम में सजगता एवं जागरूकता महत्वपूर्ण कड़ी है। आवाज दो अभियान का उद्देश्य महिलाओं को कानूनी अधिकारों एवं प्रावधानों के प्रति प्रशिक्षित एवं जागरूक करना है। आपात परिस्थितियों में महिलाओं व युवतियों की सहायता के लिए आवाज दो मोबाइल एप सक्रिय है। इससे उन्हें लोकेशन आधारित सहायता उपलब्ध कराई जाएगी। उन्होंने बताया कि अभियान के अन्तर्गत पोक्सो एवं महिला अत्याचारों से संबंधित प्रकरणों में न्यायालय के माध्यम से अपराधियों को सजा दिलाने को प्राथमिकता दी गई है। अभी तक 11 प्रकरणों में केस ऑफिसर स्कीम में लेकर सजा कराई गई है। जिसमें दो आरोपियों को फांसी की सजा मिली है।
सहायता लेने के लिए उपलब्ध है कई माध्यम
सैंगाथिर ने बताया कि व्हाट्सएप नम्बर 9929072555 के माध्यम से महिलाएं पुलिस से सहायता प्राप्त कर सकती है। अभियान के प्रचार के लिए सोशल मीडिया के अन्य प्लेटफार्मों का उपयोग भी किया जा रहा है। शिक्षण संस्थानों व मजदूरों के ठिकानों पर नुक्कड़ नाटक एवं रैली के माध्यम से प्रचार–प्रसार किया जाएगा। शिक्षण संस्थानों में शिकायत पेटिका भी लगाई जा रही है। इसमें छात्राएं अपनी शिकायतें एवं समस्याएं गोपनीय तरीके से डाल सकती हैं। इनकी मासिक एवं साप्ताहिक मॉनिटरिंग सुनिश्चित की गई है। महिलाओं द्वारा हैल्प लाइन नम्बर 1090 का उपयोग भी किया जा सकता है। थानों में संचालित महिला डेस्क एवं सुरक्षा सखी को भी आवाज दो अभियान के माध्यम से प्रभावी किया जाएगा। आईजी ने बताया कि महिलाओं के लिए आत्मरक्षा कौशल प्रशिक्षण शिविर भी लगाए जा रहे हैं।