Tuesday, April 22, 2025
Homeधर्म एवं संस्कृतिलाखों लोगों की आस्था का केन्द्र है भगवान देवनारायण का स्थान, मेले...

लाखों लोगों की आस्था का केन्द्र है भगवान देवनारायण का स्थान, मेले में उमड़ेगा श्रद्धालुओं का सैलाब

केकड़ी, 08 सितम्बर (आदित्य न्यूज नेटवर्क): केकड़ी जिले के मीणों के नयागांव में बालू रेत के टीले पर स्थित प्रसिद्ध देवनारायण भगवान के स्थान पर सोमवार को भादवी छठ लक्खी मेले का आयोजन होगा। देवनारायण भगवान की स्थापना करीब 100 साल पहले ग्रामीणों ने की थी। देवनारायण भगवान के चमत्कार के चलते दूरदराज से भी भक्तों की भीड़ यहां आने लगी है। भगवान देवनारायण के स्थान पर ग्रामीणों व विकास समिति के माध्यम से धर्मशालाओं, पार्क, पेयजल, गौशाला व बिजली जैसी सुविधाएं विकसित की गई है। प्रत्येक शनिवार को यहां भक्तों की भारी भीड़ आती है।

पहले लुटाई जाती थी शक्कर यहां भादवी छठ को प्रत्येक वर्ष मेला लगता है। मेले को लेकर भगवान देवनारायण के स्थान पर आकर्षक सजावट की गई है। मेले में झूले, चकरियां व खिलौने की दुकानें सज चुकी है। देवनारायण भगवान के मेले में पहले शक्कर लुटाने की परंपरा थी। शक्कर लेने के लिए आसपास के गांव से सैकड़ों लोग आते थे। लेकिन शक्कर वितरण के दौरान अव्यवस्था बढ़ने से इस परंपरा को बंद कर उसके स्थान पर प्रत्येक वर्ष भंडारे का आयोजन किया जाने लगा है।

70 हजार लोगों के लिए बन रही प्रसादी मेले में आने वाले देव भक्तों के लिए प्रसादी का आयोजन किया जाएगा। पिछले दो दिनों से 10 भट्टियों पर 60 हलवाईयों की टीम 70 हजार देव भक्तों की प्रसादी के लिए भोजन तैयार कर रही है। भोजन प्रसादी बनाने के लिए करीब डेढ़ सौ कट्टा आटा, 30 बोरी शक्कर, 250 पीपा तेल व 70 पीपा देसी घी और 10 क्विंटल बेसन काम में लिया गया है। मेले के दिन सुबह भगवान देवनारायण के भोग लगाने के बाद दिनभर देव भक्तों को भोजन प्रसादी कराई जाएगी।

केकड़ी: मीणों का नयागांव स्थित देवनारायण भगवान के धाम पर की गई आकर्षक साज सज्जा।

श्रद्धालुओं की लगती है भीड़ भगवान देवनारायण के दर्शन करने के लिए प्रत्येक शनिवार को यहां श्रद्धालुओं की भीड़ लगती है। केकड़ी जिले के अलावा शाहपुरा, टोंक, भीलवाड़ा, जयपुर, अजमेर, बूंदी, कोटा, सवाईमाधोपुर, अलवर, दौसा, भरतपुर सहित आसपास के जिलों से हजारों लोग दर्शनों के लिए आते हैं। शनिवार को करीब 20 हजार लोग दर्शन करने आते हैं। आसपास के गांवों से लोग पैदल यात्रा के माध्यम से भी दर्शन करने के लिए आते हैं। भादवा महीने में यहां पर हमेशा भीड़ लगी रहती है।

अनुमति मिलने पर ही होता है काम मीणों का नयागांव की खास बात है कि यहां के लोग कई वर्षों से किसी अन्य व्यक्ति को दूध नहीं देते हैं। इसके अलावा भगवान देवनारायण से बिना पाती मांगे कोई व्यक्ति कुछ काम नहीं करता है। भगवान देवनारायण के स्थान पर भी कोई भी कार्य करने से पहले पाती मांगी जाती है। अनुमति मिलने पर ही कार्य होते है।

आज भी कच्चे चबूतरे पर है मंदिर सरपंच रामप्रसाद मीणा ने बताया कि यहां पर ग्रामीणों ने भगवान देवनारायण के लिए पक्का मंदिर बनाया, लेकिन भगवान देवनारायण ने अनुमति नही दी। जिसके चलते आज भी कच्चे चबूतरे पर ही भगवान देवनारायण की प्रतिमा स्थापित है। मीणों का नयागांव में भगवान देवनारायण मेला समिति के अध्यक्ष गजानन्द मीणा ने बताया कि सोमवार को यहां मेले का आयोजन किया जाएगा।

RELATED ARTICLES